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मुनि सुधासागर जी महाराज के 43 वें मुनि दीक्षा दिवस को कस्बा मड़ावरा में हर्षोल्लास के साथ मनाया राहगीरों में मिष्ठान वितरण कर मुनि श्रेष्ठ के उपकारों का किया गुणगान

मड़ावरा(ललितपुर)- समाधिस्त आचार्य विद्यासागर जी महामुनिराज के सुयोग्य आज्ञानुवर्ती परम् प्रभावक शिष्य मुनि पुंगव सुधासागर जी मुनिराज का 43 वां मुनि दीक्षा दिवस कस्बा मड़ावरा में सकल दिगंबर जैन समाज एवं गुरु भक्तों द्वारा गुरु उपकार दिवस के रूप में बड़े ही उत्साह के साथ मनाया गया इस दौरान सर्व समाज में मिष्ठान वितरण कर भक्तों ने अपने गुरु के प्रति समर्पण भाव व्यक्त किया
बतादें की जैन धर्म के ख्यातिप्राप्त सर्व समाज में पूज्य आचार्य विद्यासागर जी के प्रिय ज्येष्ठ श्रेष्ठ शिष्य सुधासागर जी मुनिराज का 10 सितंबर को 43 वां मुनिदीक्षा दिवस था जिसके उपलक्ष्य में कस्बा मड़ावरा के गुरुभक्तों द्वारा भारी उत्साह के साथ मुनिश्रेष्ठ का मुनिदीक्षा दिवस “गुरु उपकार दिवस के रूप में मनाया पूर्व नियोजित कार्यक्रम के अंतर्गत कस्बा मड़ावरा में एकत्रित हुए सकल दिगंबर जैन समाज के श्रद्धालु एवं मुनि श्री सुधासागर जी के भक्तों ने बस स्टैंड मड़ावरा स्तिथ विद्याविहार के मुख्य गेट के सामने पांडाल लगाकर कार्यक्रम का आयोजन किया गया कार्यक्रम का शुभारंभ आचार्य श्री विद्यासागर जी के चित्र के समक्ष दीप प्रज्वलन कर किया गया तत्पश्चात राह से निकलने वाले वाहनों से जा रहे राहगीरों को मिष्ठान वितरण किया गया इस दौरान एकत्रित हुए मुनि भक्त धार्मिक भजनों पर थिरकते हुए नजर आए उनकी मुनिश्रेष्ठ के प्रति भक्ति देखते ही बनती थी
वक्ताओं ने बताया कि मुनि श्री सुधासागर जी जिन्हें जिन शासन का शेर कहा जाता है उन्होंने जैन धर्म व जैन धर्मायतनों के रक्षार्थ जो कार्य अभी तक किये गए हैं वह किसी से छुपे नहीं है उनके आशीर्वाद व प्रेरणा से देश में करीब 40 तीर्थस्थलों का कायाकल्प करवाकर वहां की सुरक्षा व्यवस्था व नव युवाओं को तीर्थों से जोड़कर तीर्थों की सेवा करने के लिए जो प्रेरित किया गया है उसका उपकार समाज नहीं चुका सकती उन्होंने देश के अनेक स्थानों पर चिकित्सालय,विद्यालय,वृद्धाश्रम,अनाथालय एवं अन्नपूर्णा भोजनशाला आदि संचालित करवाने हेतु समाज को प्रेरणा दी जिससे लांखो लोग आज लाभान्वित हो रहे हैं मुनि श्री के सानिध्य व आशीर्वाद से प्रति वर्ष श्रावक संस्कार शिविरों का आयोजन करवाया जाता है जिससे कि श्रावकों को धर्म का ज्ञान व संस्कार का श्रजन होता है गत वर्ष का शिविर म प्र के अशोकनगर में आयोजित हुआ जिसमें 6000 के लगभग शिविरार्थी शामिल हुए जो कि एक कीर्तिमान है जिसमें 8 वर्ष से लेकर 86 वर्ष के शिविरार्थी एक ही कक्षा में बैठकर अध्यनरत रहे।मुनि श्री के भक्तों ने कहा कि मुनि सुधासागर जी जैसे संतों से ही धर्म सुरक्षित व संरक्षित हो रहा है उनके उपकार भुलाना नामुमकिन है इस दौरान सैकड़ों की संख्या में गुरुभक्त उपस्तिथ रहे।

पत्रकार रामजी तिवारी मड़ावरा
चीफ एडिटर टाइम्स नाउ बुन्देलखण्ड
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